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पंचतत्व में विलीन हुआ प्रणब मुखर्जी का पार्थिव शरीर

नई दिल्ली : भारत के पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी का दिल्ली के लोधी रोड श्मशान घाट पर आज अंतिम संस्कार किया गया. मुखर्जी का संस्कार पूरे राजकीय सम्मान के साथ किया गया. अंतिम संस्कार के पहले प्रणब मुखर्जी का पार्थिव शरीर राजधानी में उनके सरकारी आवास पर रखा गया. गणमान्य लोग प्रणब मुखर्जी के आवास पर अंतिम दर्शन कर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की. पीएम मोदी ने प्रणब मुखर्जी को उनके आवास पर जाकर श्रद्धांजलि दी.

गृह मंत्री ने दिया बयान
गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि पूरे देश के लिए गहरे दुख और सदमे की बात है कि भारत रत्न प्रणब मुखर्जी हम सबके बीच में नहीं रहे. सबको साथ रखने की कला में प्रणब मुखर्जी को महारत थी. जब सत्ता में थे तो विपक्ष के लोगों के साथ तालमेल बिठाने में वो हमेशा काम करते रहे.

मनमोहन सिंह, आजाद, डॉ हर्षवर्धन रहे मौजूद
पूर्व पीएम डॉ मनमोहन सिंह ने भी प्रणब मुखर्जी को भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित की. उनके अलावा कांग्रेस के वरिष्ठ नेता गुलाम नबी आजाद और स्वास्थ्य मंत्री डॉ हर्षवर्धन ने भी प्रणब मुखर्जी को श्रद्धासुमन अर्पित किए. राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी का आज दोपहर 2 बजे लोधी रोड स्थित शवदाह गृह में राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया। कोरोना से संक्रमित होने के कारण एसओपी के तहत उनका अंतिम संस्कार हुआ। इसके चलते उनके शव को गन कैरिज के बजाय वैन में यहां लाया गया। उनके पुत्र अभिजीत बनर्जी और परिवार के बाकी सदस्य पीपीइ किट पहने हुए नजर आएं।

भारत रत्न से सम्मानित पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी का सोमवार की शाम को 84 वर्ष की उम्र में निधन हो गया। उन्हें गत 10 अगस्त को  सेना के ‘रिसर्च एंड रेफ्रल हास्पिटल’ में भर्ती कराया गया था। उसी दिन उनकी ब्रेन सर्जरी हुई। इस दौरान जांच में वह कोरोना वायरस से संक्रमित भी पाए गए थे। इसके बाद उनके हालत में सुधार नहीं हुआ। वह कोमा में थे और उनके फेफड़े व किडनी में संक्रमण हो गया था।

10 राजाजी मार्ग पर राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री सहित तमाम हस्तियों ने दी श्रद्धांजलि

इससे पहले उनके आवास पर पहुंचकर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत अन्य लोगों ने उन्हें  श्रद्धांजलि दी। केंद्र सरकार ने उनके सम्मान में  31 अगस्त से लेकर छह सितंबर तक सात दिन का राजकीय शोक घोषित किया है। सोमवार को प्रणब के निधन पर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, पीएम मोदी, अमित शाह, राहुल गांधी समेत कई नेताओं ने शोक जताया। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने कहा कि  एक युग का अंत हो गया। वहीं पीएम मोदी ने कहा कि उन्होंने राष्ट्रपति भवन को ज्ञान, विज्ञान एवं संस्कृति का केंद्र बना दिया।

 

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